देवीधुरा। कुछ सीखने की ललक और कुछ करने का जज्बा हो तो दोनों की जुगलबंदी व्यक्ति के जीवन में नए आयाम जोड़ कर उसे उद्यमी बना देती है। इस बात को दिया गुरुरानी ने जमीन पर उतार कर दिखाया है। बाराही धाम के ढरोंज गांव की दिया ऐसी जीवट महिला है, जो स्वयं को रोजगार से जोड़ने के साथ एक दर्जन अन्य ग्रामीण महिलाओं का सम्मानजनक ढंग से पेट पालने का माध्यम बनी हुई है। पहाड़ी महिला स्वरोजगार का माध्यम बनी दिया द्वारा तैयार किए जा रहे उत्पादों का अलग ही जायका व स्वाद है। इन्होंने सिल-बट्टे में आठ प्रकार के नमक तैयार किए हैं। हर नमक का अपना अलग ही स्वाद है। आंवले की कैंडी, पहाड़ी बड़ी, विभिन्न जड़ी बूटियों से तैयार हर्बल टी, जैविक मसालों, विभिन्न प्रकार के अचार, आदि उत्पादों का ऐसा अलग ही स्वाद है जो व्यक्ति इनके उत्पादों का प्रयोग करेगा तो उसे अन्य स्थानों के उत्पाद बेकार लगेंगे ।
यह महिलाओं को सिखाने के बाद उनके उत्पाद स्वयं खरीद कर उनकी बिक्री करती हैं। इनके उत्पादों ने देहरादून में भी जगह बना ली है। अब यह ऑनलाइन सामान बेचने की भी सोच रही हैं। अकेले 20 कुंतल सिलबट्टे का नमक तो यह देहरादून में भेज चुकी हैं। स्थानीय स्तर पर हर वर्ग के लोग इनके उत्पादों को खरीद कर इन्हें तथा इनसे जुड़ी महिलाओं को प्रोत्साहित कर रहे हैं। आए दिनों नमक में सीलन आने के कारण यह डिमांड में ही इसे तैयार कर रही हैं। दिया अपने कार्य के साथ बच्चों को संस्कार, नशे से दूर करने , भ्रूण हत्या रोकने, भोजन की बर्बादी, पानी की बचत आदि के लिए भी महिलाओं को प्रेरित करती रहती हैं। उनका कहना है कि अब ग्रामीण समाज में भी विकृतियां आने लग गई हैं, जिसे यहां की जागरूक महिलाएं ही रोक सकती हैं।

By Jeewan Bisht

"द पब्लिक मैटर" न्यूज़ चैनल पर स्वागत है. यहां आपको मिलेगी उत्तराखंड की लेटेस्ट खबरें, पॉलिटिकल उठापटक, मनोरंजन की दुनिया, खेल-जगत, सोशल मीडिया की वायरल खबरें, फिल्म रिव्यू, एक्सक्लूसिव वीडियोस और सेलिब्रिटीज के साथ बातचीत से जुड़े रहने के लिए बने रहे "द पब्लिक मैटर" के साथ।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!