देवीधुरा: मां बाराही धाम देवीधुरा में आयोजित होने वाले बगवाल मेले (आषाढी कौथिक) के सफल संचालन हेतु अंतिम तैयारी बैठक सोमवार को माँ वाराही धाम देवीधुरा में जिलाधिकारी नवनीत पांडेय की अध्यक्षता में संपन्न हुई*
16 अगस्त से 26 अगस्त तक कुल 11 दिनों तक चलने वाले आषाड़ी रक्षाबंधन बग्वाल मेले को भव्य रूप सम्पन्न किया जाएगा।
मेले का मुख्य आकर्षण फल फूलों से खेले जाने वाला बगवाल मेला (पाषाण युद्ध) 19 अगस्त को होगा।
उत्तर भारत के सुप्रसिद्ध माँ वाराही धाम में बगवाल (असाड़ी) मेला-2024 के सफल संचालन हेतु बैठक में विभिन्न बिंदुओं पर चर्चा की गई।
बैठक में पुलिस सुरक्षा व्यवस्था, यातायात व्यवस्था, पेयजल व्यवस्था, विद्युत व्यवस्था, वाहन पार्किंग व सफाई आदि विभिन्न व्यवस्थाओं पर चर्चा की गई।
जिलाधिकारी ने सम्पूर्ण मेला क्षेत्र में नालियों की सफाई, झाड़ी कटान हेतु लोनिवि और जिला पंचायत को कार्य को 12 अगस्त तक पूर्ण करने के निर्देश दिए और सम्पूर्ण बाजार क्षेत्र में पूर्व में लगाए गए सीसीटीवी कैमरों का कंट्रोल रूम पुलिस चौकी में स्थापित करने के निर्देश दिए।
मेला अवधि में यातायात व्यवस्था हेतु विभिन्न स्थानों तथा मार्गो में कुल 6 बैरियर लगाए जाएंगे विभिन्न स्थानों में अस्थाई वाहन पार्किंग बनाई जाएगी, जिससे यातायात व्यवस्था ठीक बनी रहे।
जिलाधिकारी ने मेला क्षेत्र में विशेष सफाई अभियान मेला प्रारंभ होने से पूर्व चलाए जाने के निर्देश जिला पंचायत को दिए, साथ ही उन्होंने कहा कि मेला अवधि के दौरान 25 सफाई कर्मचारी मेला क्षेत्र में नियमित रूप से तैनात रहेंगे।
मेले के दौरान स्वास्थ्य विभाग द्वारा उप स्वास्थ्य केंद्र देवीधुरा में आवश्यक चिकित्सा व्यवस्था के साथ ही दो अतिरिक्त चिकित्सकों, मेडिकल स्टाफ व पर्याप्त मात्रा में दवा, एंबुलेंस की तैनाती करने के साथ साथ एक दिन रक्त शिविर लगाने के निर्देश मुख्य चिकित्सा अधिकारी को दिए।
जिलाधिकारी ने कहा कि मुख्य मेला (पाषाण युद्ध) जो 19 अगस्त को होगा उस दिन अतिरिक्त चिकित्सकों व मेडिकल स्टाफ तथा मोबाइल वैन भी तैनात रहेगी।
उन्होंने मेला क्षेत्र में पर्याप्त मात्रा में समिति की मांग के अनुरूप दूध, दही, घी, मक्खन, पनीर आदि की आवश्यकतानुसार आपूर्ति करने के निर्देश दुग्ध विभाग को दिए।
उन्होंने अधिशासी अभियंता जल संस्थान को मेला अवधि के दौरान पेयजल तथा कार्मिकों की उचित व्यवस्था करने के निर्देश दिए, इसके साथ ही उन्होंने 9 अगस्त तक सभी खराब हैंडपंपों की जांच करते हुए मरम्मत करने के निर्देश दिए। जिस पर ईई जल संस्थान ने अवगत कराया कि मेला अवधि में आवश्यकतानुसार कार्मिकों की तैनाती की जा रही है तथा पार्किंग स्थलों के साथ ही जगह जगह अस्थाई स्टेंड पोस्ट लगाए जा रहे हैं। साथ ही खराब हो रहे हैंड पंपों की भी मरम्मत कराई जा रही है।
उन्होंने लोनिवि को मेला प्रारंभ होने से पूर्व सड़क, नाली आदि की सफाई तथा मरम्मत और पेंटिंग आदि कार्य करने के निर्देश दिए। साथ ही उन्होंने मेला अवधि के दौरान सभी मार्गों में जेसीबी मशीन तैनात करने के निर्देश दिए व सड़कों को गड्ढा मुक्त करने के साथ ही उन्होंने निर्देशित करते हुए कहा की झाड़ी कटान व पैदल रास्तों की सफाई और मरम्मत का कार्य भी मेला प्रारंभ होने से पूर्व ही करा लिया जाए। इसके अतिरिक्त जिलाधिकारी ने क्षेत्र की सभी सड़क मार्गों में जहां-जहां गड्ढे हुए हैं, उन स्थानों में इंटरलॉकिंग टाइल्स को लगाए जाने के निर्देश भी लोक निर्माण विभाग को दिए।
जिलाधिकारी ने मेले के दौरान हल्द्वानी और लोहाघाट से अतिरिक्त रोडवेज बसों का संचालन किया जाने हेतु उत्तराखंड परिवहन निगम को निर्देश दिए।
जिलाधिकारी ने मेले के दौरान समाज कल्याण विभाग को कैंप लगाकर लोगों को सरकारी योजनाओं से लाभान्वित करने के साथ ही 21 अगस्त को बहुद्देशीय शिविर का आयोजन हेतु निर्देश दिए।
मेला अवधि के दौरान शिक्षा युवा कल्याण एवं खेल विभाग द्वारा विभिन्न खेलकूद, सामान्य ज्ञान, साहसिक आदि प्रतियोगिताएं भी आयोजित कराई जाएगी, जिस हेतु जिलाधिकारी ने संबंधित विभागों के अधिकारियों को तैयारी पूर्ण करने के निर्देश दिए। इसके साथ ही उन्होंने मेला क्षेत्र के विद्यालयों में तीन दिन का अवकाश घोषित किए जाने हेतु आवश्यक कार्रवाई करने के निर्देश शिक्षा विभाग को दिए, साथ ही उन्होंने सभी भवनों की मरम्मत किए जाने के भी निर्देश दिए जिन्हें आवास के रूप में उपयोग में लिया जाएगा।
मेला अवधि में उचित विद्युत व्यवस्था के संबंध में जिलाधिकारी ने अधिशासी अभियंता यूपीसीएल तथा उरेडा को निर्देश दिए कि मेला अवधि के दौरान विद्युत आपूर्ति बाधित न हो इस हेतु वैकल्पिक व्यवस्था पूर्व ही कर ली जाए। उरेडा विभाग को मेला परिसर में खराब पड़ी सोलर लाईट को ठीक करने के साथ ही 12 अगस्त तक 5 हाई मास्ट लाईट मेला क्षेत्र व पार्किंग स्थलों में लगाने के निर्देश दिए।
उन्होंने जिला पंचायत को मेला अवधि के दौरान मेला क्षेत्र अंतर्गत लगने वाली दुकानों का पंजीकरण किए जाने तथा प्रत्येक दुकान के बाहर कूड़ादान अवश्य रखें जाने हेतु निर्देश दिए। इसके अतिरिक्त जिलाधिकारी ने मेला क्षेत्र में विभिन्न स्थानों में शौचायलयों का निर्माण व पुराने शौचायलयों की सफाई व्यवस्था के अतिरिक्त विभिन्न स्थानों में अस्थाई शौचालय का निर्माण हेतु जिला पंचायत व पर्यटन विभाग को निर्देशित किया।
बैठक में मेले के दौरान टेंट, विद्युत, रंग रोगन, बेरिकेटिंग आदि व्यवस्था पर भी चर्चा की गई।
जिलाधिकारी ने सभी विभागों को निर्देश दिए कि जिस विभाग को जो दायित्व सौपा गया है उसको 12 अगस्त तक प्रत्येक दशा में पूर्ण करना सुनिश्चित कर लें।
बैठक में मेले के दौरान आवश्यक सुरक्षा व्यवस्था पर भी चर्चा की गई। इस संबंध में पुलिस अधीक्षक अजय गणपति ने अवगत कराया कि मेले के दौरान एक पुलिस कंट्रोल रूम स्थापित होगा, प्रत्येक पुलिस कर्मी के पास वॉकी टॉकी सेट भी रहेगा। इसके अतिरिक्त मेला क्षेत्र में दो फायर वाहन तैनात रहेंगे उन्होंने कहा कि मेले में आने वाली तीर्थ यात्रियों की पूर्ण सुरक्षा एवम् सम्मान दिए जाने के लिए पुख्ता व्यवस्था की जाएगी।
बैठक का संचालन उप जिला अधिकारी रिंकु बिष्ट तथा मंदिर समिति के हयाद सिंह द्वारा किया गया।
बैठक में विधायक खुशाल सिंह अधिकारी, ब्लॉक प्रमुख सुमनलता, अध्यक्ष मंदिर कमेटी मोहन सिंह बिष्ट, सीडीयो एस. के. सिंह, सीओ वंदना वर्मा, मंदिर कमेटी के संरक्षक लक्ष्मण सिंह लमगड़िया, जिप. सदस्य सीमा विश्वकर्मा, वाराही मंदिर के पीठाचार्य कीर्ति शात्री समेत विभिन्न विभागों के अधिकारी, मंदिर समिति के पदाधिकारी, चार खाम सात थोक के प्रधान, गहड़वाल खाम के वयोवृद्ध प्रमुख त्रिलोक सिंह बिष्ट, वालिक खाम के बद्री सिंह बिष्ट, लमगड़िया खाम के वीरेंद्र लमगड़िया, चम्याल खाम के गंगा सिंह सहित विभिन्न क्षेत्रीय जनप्रतिनिधि तथा गणमान्य नागरिक आदि मौजूद रहे।

By Jeewan Bisht

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