लोहाघाट। मनुष्य को कभी यह नहीं सोचना चाहिए कि वह अपने जीवन में इतना खुश है बल्कि यह सोचना चाहिए कि उसकी वजह से कितने लोगों को खुशी मिल रही है। इस भावधारा से प्रेरित होकर सुदूर पनार घाटी के नितिन कालाकोटी, पवन अधिकारी, रवि राज अधिकारी, मोहित कालाकोटी ने यह काम किया जिसमे अपना पर्स खोने से परेशान व्यक्ति के चेहरे में मुस्कुराहट आ गई। पर्स में दस हजार से अधिक की नगदी व अन्य महत्वपूर्ण कागजात थे। दरअसल अग्निवीर बनने के लिए रोज सड़क में दौड़ लगा रहे बैडा गांव के जीआईसी वर्दाखान में अध्यनरत छात्रों को सड़क में जब यह पर्स मिला तो उन्होंने अपनी ईमानदारी एवं पारिवारिक संस्कारों को देखते हुए पर्स विद्यालय के पीटीए अध्यक्ष भवान राम को सौंप दिया। जिन्होंने सोशल मीडिया के जरिए उस व्यक्ति तक पहुंचाने का प्रयास किया जो पर्स खोने से परेशान था। बच्चों की ईमानदारी पर विद्यालय परिवार ने उनकी यह कहकर पीठ थपथपाई की आज जबकि युवा नशे की जाल में फंसकर बुरे कार्य कर रहे हैं लेकिन इन छात्रों ने गरीबी के बावजूद ईमानदारी का परिचय दिया है।